M. Hassan Tanwar Profile picture
{ The poet,Truth holmark of the Islam } RTs, are not endorsement.
Jan 17, 2022 12 tweets 4 min read
मैंने नजदीक से देखीं आहें किसानों की
जिनके बच्चों की फीस तलक नहीं भरती परीक्षाओं की
इक दिन मेरा दर्द तब झलक उड़ा
जब मैं बाज़ार जाने की तैयारी में था
मैं और मेरी बीवी में किसानों की मेहनत का जिक्र हुआ
जिससे मुझे दिल की गहराई में गहरा दर्द हुआ
जो ये कि...
@tukabandee बाज़ार से खरीददारी की तैयारी होने लगी
और बीवी साग सब्जी की फेहरिस्त बनाने लगीं
मैंने जेब में हाथ डाला तो मन कुछ उदास सा हुआ
बीवी बोली जी हुआ क्या पैसा नहीं हैं क्या
मैंने कहा कि सिर्फ मेरे पास दो सौ का नोट है
और मंहगाई पर न कोई रोक टोक है
Jan 16, 2022 14 tweets 7 min read
@Rekhta उस रात चिराग सब के सब कबले रात ही बुझाए गए
और सुबह होने तलक तनक भी न जलाए गए

हर अदब दस्तूर हिफाजत क़रीने इश्क़ के निभाए गए
फिर चांदनी ढलने पर मकानों की छांव छांव में
चुपके छुपके अंदर को वो बुलाए गए

यानि कि वो हर रुसवाई उलझन तोहमत से हर तरह बचाए गए
#हसनतंवर @Rekhta जो पीयादे आसतां ए दरबार थे सब अदब कराए गए
फिर पीयादे के हाथों हम उछलते कूदते फांदते महलों के द्वार पे बुलाए गए

वो पर्दा ए गिरफ्त थी हम भी पर्दा ए रश्क थे
पर चेहरे के कपडे चांद से हटाए गए
झिझक शर्म व उलझन के साथ उन्होंने सलाम अर्ज किया
फिर उनको इश्क़ के इशारे सब समझाए गए
Jan 15, 2022 5 tweets 2 min read
नाम उनका तिलसुम था
प्यार से तितली भी कहते लोग ,
कुछ तोतली भी कहते थे जो चिढ़ाते थे उन्हें लोग ।

हुआ ऐसा कि वो कुछ सहेलियों के साथ बातों में मस्त थीं
आंखे मंजरी और गहरे काजल में मुश्त थीं ,
जैसे ही नजर मेरी पड़ी तो नाचने लगी नज़र उनकी
मैं भी खुश हुआ कि जाल मे फंस गई तितली.. 2 इठलाते हुए बल खाते हुए नजरें मिलाते हुए मुझसे
इशारे से करने लगीं जैसे मोहब्बत जताती हो मुझसे
मैंने इक खाली कागज़ फेंक दिया उनके सामने
आंख बचा सहेलियों से लिख के उसने भी फेंका सामने
लिखा था गोबर ले के गैत में आठ बजे जाती हूं
फिर सरसो के खेत में बैठके दबा के फोन मिलाती हूं..3
Dec 4, 2021 5 tweets 2 min read
शायरी ना सही आज़ दिल का दर्द सुना दूं दोस्तो,
बात उन दिनों की जब हम इस मुकाम पर मिले, सुना दूं दोस्तो।

अपने भी इसी जमीं पर कुछ प्यारे दोस्त हुआ करते थे,
जो छोले चिप्स खीर पकोड़े खिलाया करते थे दोस्तो।

हंस हंस के दिन गुजरते गए,
एक दूसरे के दिल मे उतरते
गए दोस्तो 1/3
@Rekhta 2/3..
ये दुनिया चलता फिरता मुसाफिर खाना है,
अजनबी कुछ और भी यहां आए दोस्तों।
ठहरे, पास बैठे कुछ ने चिप्स छोले खाए किसी ने नहीं खाए,
सबकी अपनी अपनी फितरत है दोस्तों।
हुआ यूं कि मेरे पुराने दोस्त मुझसे रूठने लगे,
मचल जाते मेरे पास तक नहीं आते गुस्सा दिखाने लगे दोस्तों 2/3
@Rekhta
Nov 22, 2021 14 tweets 4 min read
#मुस्लिम_पूरा_पढ़ें_RT_LIKE_की_जरूरत_नहीं
मुसलमानों आज़ के हालात में आप राजनीति की कुछ सच्चाई मानोगे, जरूर माननी पड़ेगी 👇👇
~आप कितनी ही बेहतरीन सलाह दो आपको कोई
सुनने के लिए तैयार नही
~मुस्लिम BJP को बहुत कम वोट देते हैं और हिन्दू छुपकर या खुलेआम BJP को जमकर वोट देते हैै1/6 ~ BJP क़यामत तक भी मुस्लिम वोट बैंक पर निर्भर नहीं रहेगी।
~ non BJP कोई भी पार्टी कभी भी खुलेआम मुस्लिम समुदाय का अहसान नहीं मानेगी।
~ अब मुस्लिम के साथ Use and throw ही रहेगा क्योंकि मुस्लिम में चापलूसों की संख्या बढ़ चुकी है।
~ तुम्हारे लिए कट्टरता सभी दलों में पहुंची चुकी
2/6
Nov 20, 2021 4 tweets 2 min read
किसान बिल्स की वापसी पर खिलखिला कर हंसने वाला विपक्ष याद रखे:-
~ ये भारत है यहां 3 महीने में सब कुछ भुला दिया जाता है।
~ हो सकता CAA NRC का जिन्न जगाया जाएगा।
~ हो सकता मुसलमानों को और ज्यादा सताया जाए।
~ ये वही किसान हैं जिन्होंने 2014 और2019 में खेती छोड़ कर BJPको वोट दिया 1/2 भारत की आबादी 70% कृषकों से भरी हुई है, जो गांवों में रहते हैं..
गांव के लोगों ने 2014 और 2019 में अपनी कुल वोट का 65% भाग BJP को दिया।
विपक्ष के सवर्ण जाति के नेताओं के पास किसानों की वोट पहले बहुत कम थी और इस बात BJP के बराबर हो सकती हैं।
क्योंकि BJP का चुनाव मुस्लिम पर निशाना
Nov 19, 2021 5 tweets 2 min read
#अहसान_फरामोश_लोग
तुमने तो अकेले ही फतेह किए हैं किले,
हम कभी भी कहीं भी कब साथ थे तिहारे ?
मुगलों को बुलाया किसने, गौरों को बसाया किसने..
जो कण कण वतन का लूटा गौरों को बताया किसने,
इक जालिम का साथी था इक मजलूम बन गया,
2-2 रुपए की खातिर ज़मीर बिके हैं तिहारे..1/4 लाखों ने गोली खाई मुसलमान फिर भी गद्दार ही कहे,
और वही अंग्रेज़ आज़ तक निकले नहीं दिलों से तिहारे।
दबाव था अंग्रेज का भगतसिंह को फांसी मिले,
इस्तीफा सौंप दिया "जज आगा खां" अजदाद थे हमारे।
कोई एक किला बताओ जो तुमने अकेले फतेह किया हो..
हर ज़ंग में शहीद हुए हैं जांबाज हमारे...2/4
Nov 18, 2021 6 tweets 5 min read
हम 1947 से @INCIndia के सिपाही रहे हैं।
वो पार्टी आज के हालात में 25 करोड़ मुसलमान के पीड़ितों को गले लगाने से डरती है।
@ghulamnazad साहेब के फैसले का हम दिल से स्वागत करते हैं।
#Cong का "नाव" अब चापलूसों ने फंसा दिया है।
@ShayarImran साहेब कांग्रेसी नेता है गुलाम ना रहें ..1/3 @INCIndia पार्टी के मौजूदा नेता दिल से कांग्रेसी नहीं।
@AcharyaPramodk @Dr_Uditraj @LambaAlka जैसे लोगो की जबान ने कांग्रेस का बहुत नुक़सान किया है।
RSS मे ट्रेंड हुए लोग Congress नही बन सकते।
देश के सच्चे नेता है @RahulGandhi जी
परंतुCongमे कुछ लोग आज़ भी दिल से कांग्रेसी नही2/3
Nov 17, 2021 4 tweets 2 min read
#UP_वाले_जरूर_पढ़ें
(कुल वोट 100 मानें)
UP election 2022 के लिए विद्वानों के आंकड़े बताते हैं कि UP विधानसभा चुनाव में BJP और SP का घमासान युद्ध होगा।
गैर मुस्लिम वोटस् 80 का लगभग BJP SP BSP पर 70 वोट्स का बंटवारा होगा। बाकी 10 वोटस् में कांग्रेस तथा
अन्य होंगे...3/1 कुल 100 वोट्स में से 20वोटस् मुस्लिमों की मानी जाती हैं।
SP AIMIM दोनों 14 वोट्स लेंगे।
Cong BSP तथा अन्य 6 वोट्स ले सकते हैं।
अब देखना ये है कि BJP और SP के लिए गैर मुस्लिम वोटस् 70 में से कितना कितना मिलता है..
कुल 70
BJP=28
SP=24
BSP=18
तक भी रहता है तो SP का संतुलन..3/2
Nov 9, 2021 6 tweets 2 min read
#कण_कण_वतन
कुछ सोचते होंगे, मैं किस कण की महिमा करूं..

अपने घर की मिट्टी की, गांव की गलियों शहर या इलाके की
मिट्टी की।

दरअसल मिट्टी तो मेरे कुर्बान ए लहू की शान रही है,
फिर मैं कैसे अलग अलग हिस्सों में बांट दूं क़दर इस मिटटी की? यूं ना सोच मैं एक छोटे से गांव के छोटे से घर से एक छोटा अदना सा बच्चा हूं..

नादान नहीं हूं, मैं किसी पहचान का मोहताज कैसे बनूं,
मैं तो इस तवील दरिया में रहने वाली 135 करोड़ मछलियों का इक हिस्सा हूं।
मैं कण हूं, मैं इक कण ही रहूंगा नश्लों नश्लों तक हिंद की मिट्टी की।
Nov 9, 2021 4 tweets 2 min read
#हमारा_दर्द
कुछ ने ज़फ़र को सुना होगा,
सुनकर दर्द भी सहा होगा।

तुम्हारे दर्द में ये भी याद रहा होगा,
1857 के जंग में वो अकेले
नहीं थे।
कुछ अरमान थे ईमान था वतन की कौम थी,
अपने फौजी भी साथ रहे साथ आबादी भी थी फिर वो हारे कैसे..?
एक बात याद रखना वो बादशाह ज़फ़र थे, मुसलमान थे। जंग ए इंतेजाम होना तय था,
पर वो पहले ही छेड़ दिया।

कारण गाय सुअर की चर्बी से बने कारतूस से आस्था आहत बता दिया।

नतीजा ये हुआ कि झांसी की रानी शहीद हुई,
और हजारों वतन के दीवाने
चले गए..
ज़फ़र बंदी बनाकर रंगून क़ैद मे डाल दिया।

हजारों उजड़े सैंकड़ों बिछड़े दो दोस्त भी बिछड़ गए