#मोदी_है_तो_मुमकिन_है
भगोड़े हीरा काराबोरी #नीरव_मोदी को भारत लाए जाने का रास्ता साफ हो गया ..
भारत की प्रत्यर्पण की मांग पर ब्रिटेन की गृह मंत्री ने सहमति जताई है और मंजूरी दे दी। सीबीआई के एक अधिकारी ने बताया कि शुक्रवार को ब्रिटेन की होम मिनिस्टर प्रीति पटेल ने नीरव मोदी को..
भारत प्रत्यर्पण करने के फैसले पर मुहर लगा दी है। इससे पहले लंदन की अदालत ने मामले की सुनवाई करते हुए नीरव मोदी के भारत प्रत्यर्पण पर सहमति जताई थी और उसकी सभी दलीलों को खारिज करते हुए कहा था कि उसका भारत की जेल में ख्याल रखा जाएगा।
नीरव मोदी और उसके मामा मेहुल चोकसी पर...
पंजाब नेशनल बैंक के अधिकारियों के साथ मिलकर 14 हजार करोड़ रुपए से भी अधिक के लोन की धोखाधड़ी का आरोप है। यह धोखाधड़ी गारंटी पत्र के जरिए की गई। उस पर भारत में बैंक घोटाला और मनी लॉन्ड्रिंग के तहत दो प्रमुख मामले सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय ने दर्ज किए है।
इसके अलावा कुछ अन्य मामले भी उसके खिलाफ भारत में दर्ज हैं। सीबीआई और ईडी के अनुरोध पर ब्रिटेन से उसका प्रत्यर्पण अगस्त, 2018 में मांगा गया था।
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🟤 बहुत से हिन्दू वामपंथियो के षड़यंत्र मे फसकर मन्दिरो पर, #राममंदिर पर ज्ञान दे रहे है और अस्पताल अधिक होने की बात कर रहे है। इन्हें बस बहाना चाहिए हिन्दू आस्था पर आक्रमण करने के लिए। इन्हें क्या ज्ञान नही है कि कोरोना वायरस वामपंथी देश चीन ने फैलाया था?
🟣 पिछले वर्ष से ही सरकारी नियंत्रण में होने और सरकारो को टैक्स देने के बाद भी मंदिरों ने करोड़ो का दान दिया। आज जब रोगियों की संख्या बढ़ गयी है, तो यही मंदिर और आश्रम बेड भी मुहैया करवा रहे है।
🔵 अस्पताल तो इटली, ब्राज़ील और अमरीका मे भी बहुत है। वहाँ क्यों हाहाकार मचा हुआ है?
🟢 ऐसी पोस्ट डालनेवालों की बौद्धिक मूर्खता का पता चल रहा है...
हम #राममन्दिर के लिए लड़े थे...हम लड़े थे अपने #स्वाभिमान के लिए...
हमने किसी की मान्यताओं को कभी अतिक्रमित नहीं किया...जो हमारा था बस वह लिया, संघर्ष करके...
और यदि वहां एक अस्पताल बन भी जाता, तो...
अल्पसंख्यक (मुसलमान-ईसाई) उन्मुख भारत का संविधान और सभी राजनीतिक दलों की मुस्लिम तुष्टिकरण की नीति...
राष्ट्रवादी हिन्दुओं के लिए घोर संकट की घंटियां जोर-जोर से बज रही है, किन्तु हिन्दू राष्ट्रवादी स्वयं बिखरे और भटके हुए है। वे रो रहे है, चिल्ला रहे है, पर..
यह नहीं जानते कि क्या करे, कहाँ से शुरू करे?
यह समझना आवश्यक है, कि हिंदुओं के सामने आज जैसी संकट की घड़ी इतिहास में कभी नहीं आई। मध्ययुग में राजाओं और सुल्तानों के बीच युद्ध होते थे, किन्तु आज हमारे सामने संविधान प्रदत्त एक नए प्रकार का युद्ध, विरोधी सभ्यताओं व...
जीवन मूल्यों के टकराव का है।
इसलिए हिन्दू जन-जागरण और सामूहिक प्रयत्न के बिना दिनों-दिन बढ़ते जा रहे इस्लामी आक्रमण से पार पाना अत्यंत कठिन है। विशेषकर इसलिये, कि कम्युनिस्ट और सैक्यूलरवादी हिन्दू भी साम्राज्यवादी इस्लाम के संरक्षक और समर्थक है।
*3* जिस सम्राट का राजचिंह राष्ट्रीय प्रतीक मानकर सरकार चलता है और उनका मंत्र सत्यमेव जयते को अपनाया गया...
*4* जिस देश में सेना का सबसे बड़ा युद्धसम्मान सम्राट अशोक के नाम पर अशोक चक्र दिया जाता है...
*5* जिस सम्राट से पहले या बाद में कभी कोई ऐसा राजा या सम्राट नही हुआ, जिसने..
अखंड भारत (आज का नेपाल, बांग्लादेश, पूरा भारत, पाकिस्तान और अफगानिस्तान) जितने बड़े भूभाग पर एक-छत्र राज किया हो...
*6* सम्राट अशोक के ही समय में 23 विश्वविद्यालयों की स्थापना की गई, जिसमें तक्षशिला, नालन्दा, विक्रमशिला, कंधार आदि विश्वविद्यालय प्रमुख थे। @Bhgwa2020@ApJain9
कुछ लोग कुतर्क के रास्ते से राष्ट्रहितैषी लोगों का मार्ग भटकाने का प्रयास कर रहे है, ये कहकर कि मंदिरों की जगह अस्पताल बनवाये होते तो लोग कोरोना से मरते न होते।
उन्हें सीधे शब्दों में समझाती हूं कि भारत में अस्पताल भी बहुत हैं, चिकित्सा विशेषज्ञ भी बहुत हैं..
बस कुछ कमी है तो चिकित्सकीय सुविधाओं की। वो इस लिए कम है, कि भारत से अभी भ्रष्टाचार खत्म नहीं हुआ है। आज भी सरकार बजट में चिकित्सा क्षेत्र के लिए काफी अनुदान देती है, लेकिन संबंधित विभाग उन पैसों का 25% भाग अस्पतालों में लगाते है। बाकी सब आपस में मिलबांट लेते है, जैसे कि...
ये उनके पिता की सम्पत्ति का है।
जिन्हें देश में अस्पताल कम लगते है, तो उनको जानना जरूरी है कि हिंदुओं की जनसंख्या के लिए इतने अस्पताल बहुत है। वे जरा उनसे कहें जो देश में अंधाधुंध आबादी बढ़ाकर देश में मिल रही समस्त सुविधाओं को मात्र एक वोट की कीमत से बसूल रहे है।
महाभारत युद्ध में अपने पिता द्रोणाचार्य के धोखे से मारे जाने पर अश्वत्थामा बहुत क्रोधित हो गये..
उन्होंने पांडव सेना पर एक बहुत ही भयानक अस्त्र "नारायण अस्त्र" छोड़ दिया।
इसका कोई भी प्रतिकार नहीं कर सकता था।यह अस्त्र जिन लोगों के हाथ में हथियार हो और...
लड़ने के लिए कोशिश करता दिखे, उस पर अग्नि बरसाता था और तुरंत नष्ट कर देता था।
भगवान श्रीकृष्ण ने सेना को अपने अपने अस्त्र शस्त्र छोड़कर, चुपचाप हाथ जोड़कर खड़े रहने का आदेश दिया। और कहा मन में युद्ध करने का विचार भी न लाएं, यह उन्हें भी पहचान कर नष्ट कर देता है।
"नारायण अस्त्र" धीरे धीरे अपना समय समाप्त होने पर शांत हो गया।
इस तरह पांडव सेना की रक्षा हो गई...
इस कथा प्रसंग का औचित्य समझें?
हर जगह लड़ाई सफल नहीं होती। प्रकृति के प्रकोप से बचने के लिए हमें भी कुछ समय के लिए सारे काम छोड़कर, चुपचाप हाथ जोड़कर, मन में सुविचार रखकर...