#Sanatan_dharm is based on universal #Laws of nature of reality, deepar understanding of #cosmic existence. justice #science_dharma
Dec 28, 2023 • 12 tweets • 3 min read
💥 #तीन_लोक_14_भुवन 🚩🚩
विष्णुपुराण के अनुसार लोकों या भुवनों की संख्या 14 है। इनमें से 7 लोकों को ऊर्ध्वलोक व 7 को अधोलोक कहा गया है। यहाँ 7 ऊर्ध्वलोकों का विवरण निम्न है।
♦1. भूलोक :- वह लोक जहाँ मनुष्य पैरों से या जहाज, नौका आदि से जा सकता है। अर्थात
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हमारी पूरी पृथ्वी भूलोक के अन्तर्गत है।
♦2. भुवर्लोक :- पृथ्वी से लेकर सूर्य तक अन्तरिक्ष में जो क्षेत्र है वह भुवर्लोक कहा गया है और यहाँ उसमें अन्तरिक्षवासी देवता निवास करते हैं।
♦3. स्वर्लोक :- सूर्य से लेकर ध्रुवमण्डल तक जो प्रदेश है उसे स्वर्लोक कहा गया है और इस
Dec 17, 2023 • 7 tweets • 2 min read
💥 महात्मा #विदुर का परिचय 🚩🚩
⚜️ महाभारत में #विदुर एक मुख्य पात्रों में से एक हैं। वे कुरुवंश के प्रधानमंत्री और पांडवों एवं कौरवों के चाचा भी थे। आओ जानते हैं उनका संक्षिप्त परिचय।
⚜️ विदुर ऋषि व्यास के पुत्र थे। विदुर पांडवों के सलाहकार थे और उन्होंने
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दुर्योधन द्वारा रची गई साजिश से कई मौके पर उन्हें मृत्यु से बचाया था। विदुर ने कौरवों के दरबार में द्रौपदी के अपमान का विरोध किया था। #कुरुक्षेत्र युद्ध के दौरान विदुर धर्म और पांडवों के पक्ष में थे।
⚜️ भगवान श्रीकृष्ण के अनुसार, विदुर को यम (धर्म) का अवतार माना जाता था।
Oct 10, 2023 • 17 tweets • 4 min read
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देवीपार्वती के 108 नाम और इनका अर्थ
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देवी पार्वती विभिन्न नामों से जानी जाता है और उनमें से हर एक नाम का एक निश्चित अर्थ और महत्व है। देवी पार्वती से 108 नाम जुड़े हुए है । भक्त बालिकाओं के नाम के लिए इस नाम का उपयोग करते है।
@AnkitaBnsl
1 . आद्य - इस नाम का मतलब प्रारंभिक वास्तविकता है।
2 . आर्या - यह देवी का नाम है
3 . अभव्या - यह भय का प्रतीक है।
4 . अएंदरी - भगवान इंद्र की शक्ति।
5 . अग्निज्वाला - यह आग का प्रतीक है।
6 . अहंकारा - यह गौरव का प्रतिक है ।
7 . अमेया - नाम उपाय से परे का प्रतीक है।
Aug 27, 2023 • 10 tweets • 3 min read
👉 मृत्यु के भय को कैसे जीते🪐
एक बार माता पार्वती ने भगवान शिव से ऐसे गूढ़ ज्ञान देने का अनुरोध किया जो संसार में किसी भी जीव को प्राप्त न हो। वह अमरत्व का रहस्य प्रभु से सुनना चाहती थीं। अमरत्व का रहस्य किसी कुपात्र के हाथ न लग जाए, इस चिंता में पड़कर महादेव पार्वती जी को
लेकर एक निर्जन प्रदेश में गए। उन्होंने एक गुफा चुनी और उस गुफा का मुख अच्छी तरह से बंद कर दिया. फिर महादेव ने देवी को कथा सुनानी शुरू की। पार्वती जी थोड़ी देर तक तो आनंद लेकर कथा सुनती रहीं। जैसे किसी कथा कहानी के बीच में हुंकारी भरी जाती है, उसी तरह देवी काफी समय तक हुंकारी
Jun 1, 2023 • 5 tweets • 2 min read
क्या आप जानते है कि विश्व में सबसे अधिक क्षेत्र में फैला मंदिर कौन सा है ?
शायद नहीं, ये है अंगकोर वाट का मंदिर प्रांगण जो कि केवल हिन्दू धर्म नहीं बल्कि सभी धर्मो के धार्मिक स्मारकों में सबसे बड़ा है।
आइए जानते है कुछ तथ्य हमारी संस्कृति के इस अनसुने अध्याय के बारे में . .
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1 - अंगकोर वाट का मंदिर कंबोडिया देश में स्थित है, जी हां, सबसे बड़ा हिन्दू मंदिर भारत में नहीं है।
2 - इसका निर्माण खमेर राजवंश के राजा सूर्यवर्मन द्वारा कराया गया था, जो कि भगवान विष्णु को समर्पित है ।
3 - यह प्रांगण 402 एकड़ भूमि में फैला है, आप इसकी भव्यता का
Jun 1, 2023 • 5 tweets • 2 min read
*क्या आपने कभी बंदरों को स्वाभाविक रूप से मरते देखा है?*
क्या आपने कभी किसी बंदर को कुत्ते, बिल्ली, चूहे, गाय आदि की तरह मरा हुआ देखा है?
क्या आपने इसे कभी डिस्कवरी चैनल पर देखा है?
यह सच है कि स्वाभाविक रूप से मरने वाले बंदरों की मौत कोई नहीं देख सकता।
#Thread
उन्हें मृत्यु से कम से कम एक सप्ताह पहले ही अपनी मृत्यु की तिथि का आभास हो जाता है।
तब से बंदर एक सुरक्षित स्थान चुनता है और बिना किसी भोजन या पानी के चुपचाप बैठ जाता है।
वह भी एक सप्ताह बंदर तपस्या करेगा।
जब आप इस जानकारी को गिनते हैं तो किसी भी अन्य चमत्कार से अधिक तथ्य
#भीष्म पितामह ने अर्जुन को 4 प्रकार से भोजन न करने के लिए बताया था ...!
1 ;- पहला भोजन ....
जिस भोजन की थाली को कोई लांघ कर गया हो वह भोजन की थाली नाले में पड़े कीचड़ के समान होती है ...!
2 :-दूसरा भोजन ....
जिस भोजन की थाली में ठोकर लग गई #Thread
,पाव लग गया वह भोजन की थाली भिष्टा के समान होता है ....!
3 :- तीसरे प्रकार का भोजन ....
जिस भोजन की थाली में बाल पड़ा हो, केश पड़ा हो वह दरिद्रता के समान होता है ....!
4 :-चौथे नंबर का भोजन ....
अगर पति और पत्नी एक ही थाली में भोजन कर रहे हो तो वह मदिरा के तुल्य होता है .....
May 4, 2023 • 13 tweets • 3 min read
कुलदेवी की पूजा क्यू करना चाहीये ।
हिन्दू पारिवारिक आराध्य व्यवस्था में कुल देवता/कुलदेवी का स्थान सदैव से रहा है ,,प्रत्येक हिन्दू परिवार किसी न किसी ऋषि के वंशज हैं जिनसे उनके गोत्र का पता चलता है ,बाद में कर्मानुसार इनका विभाजन वर्णों में हो गया विभिन्न कर्म करने के लिए
,जो बाद में उनकी विशिष्टता बन गया और जाती कहा जाने लगा ,,पूर्व के हमारे कुलों अर्थात पूर्वजों के खानदान के वरिष्ठों ने अपने लिए उपयुक्त कुल देवता अथवा कुलदेवी का चुनाव कर उन्हें पूजित करना शुरू किया था ,ताकि एक आध्यात्मिक और पारलौकिक शक्ति कुलों की रक्षा करती रहे जिससे उनकी
Jan 9, 2023 • 9 tweets • 3 min read
#Thread
घर में #शंख रखने और बजाने के ये हैं ग्यारह आश्चर्यजनक लाभ....!!!
पूजा-पाठ में शंख बजाने का चलन युगों-युगों से है। देश के कई भागों में लोग शंख को पूजाघर में रखते हैं और इसे नियमित रूप से बजाते हैं।
ऐसे में यह उत्सुकता एकदम स्वाभाविक है कि शंख केवल पूजा-अर्चना में ही
उपयोगी है या इसका सीधे तौर पर कुछ लाभ भी है!!
सनातन धर्म की कई ऐसी बातें हैं, जो न केवल आध्यात्मिक रूप से, बल्कि कई दूसरे तरह से भी लाभदायक हैं।
शंख रखने, बजाने व इसके जल का उचित इस्तेमाल करने से कई तरह के लाभ होते हैं। कई फायदे तो सीधे तौर पर सेहत से जुड़े हैं।
Jan 7, 2023 • 9 tweets • 3 min read
#तिलक_लगाने_के_बाद_चावल_के_दाने_क्यों_लगाए_जाते_है
ये तो आपने अक्सर देखा होगा, कि जब आपके घर में कोई त्यौहार, शादी या पूजा का समय होता है
तो इसकी शुभ शुरुआत व्यक्ति को तिलक लगा कर की जाती है जी हां ये तो सब को मालूम है कि पूजा के दौरान व्यक्ति को तिलक लगाया जाता है @Itishree001
क्यूकि तिलक लगाना शुभ माना जाता है. मगर क्या आपने कभी ये सोचा है कि तिलक लगाने के बाद व्यक्ति के माथे पर चावल क्यों लगाए जाते है.
यकीनन आपको कभी ये सोचना की जरूरत ही नहीं पड़ी होगी. हालांकि आज हम आपको ये बताएंगे कि तिलक लगाने के बाद उसके ऊपर चावल क्यों लगाए जाते है.
Jan 6, 2023 • 7 tweets • 2 min read
शबरी बोली, यदि रावण का अंत नहीं करना होता तो हे प्रभु श्री राम! आप यहाँ कहाँ आते ? श्री राम गंभीर हुए और कहा कि "भ्रम में न पड़ो माते!
श्री राम क्या केवल रावण का वध करने यहां आये है...?
अरे रावण का वध तो मेरा अनुज लक्ष्मण भी कर सकता था।
श्री राम हजारों कोस चल कर #Thread
इस गहन वन में आये है तो केवल तुमसे मिलने आये है माते,
ताकि हजारों वर्षों बाद जब कोई पाखण्डी भारत के अस्तित्व पर प्रश्न खड़ा करे।
तो इतिहास चिल्ला कर उत्तर दे कि इस राष्ट्र को क्षत्रिय श्री राम और उसकी भीलनी माँ ने मिल कर गढ़ा था।
जब कोई कपटी भारत की परम्पराओं पर उँगली उठाये
लड़के ने नम्बर मांगा आप ने दे दिया,लड़के ने तस्वीर मांगी आप ने दे दी...लड़के ने वीडियो कॉल के लिए कहा आप ने कर ली, अब लड़के ने दुपट्टा हटाने को कहा आप ने हटा दिया। लड़के ने कुछ देखने की ख्वाहिश की आप ने पूरी कर दी #Threads
लड़के ने मिलने को कहा आप माँ बाप को धोखा देकर आशिक़ से मिलने पहुंच गयीं। लड़के ने पार्क में बैठ कर आप की तारीफ करते हुए आपको सब्ज़बाग दिखाए आपने देख लिये...फिर जूस कार्नर पर जूस पीते वक़्त लड़के ने हाथ लगाया, इशारे किये, मगर कोई बात नहीं अब नया ज़माना है यह सब तो चलता ही है...
वैशम्पायन जी कहते हैं जनमेजय! युधिष्ठिर!
ने पूछा- मधुसूदन! ब्राह्मण की पूजा करने से क्या फल मिलता है ? इसका आप ही वर्णन कीजिये, क्योंकि आप इस विषय को अच्छी तरह जानते हैं और मेरे पितामह भी आपको इस विषय का ज्ञाता मानते हैं।
रावण ने कैलाश पर्वत को उठा लिया फिर धनुष क्यों नहीं उठा पाया और राम ने कैसे धनुष तोड़ दिया ?
ऐसा था धनुष : भगवान शिव का धनुष बहुत ही शक्तिशाली और चमत्कारिक था।
शिव ने जिस धनुष को बनाया था उसकी टंकार से ही बादल फट जाते थे और पर्वत हिलने लगते थे। ऐसा लगता था मानो भूकंप आ गया हो
यह धनुष बहुत ही शक्तिशाली था। इसी के एक तीर से त्रिपुरासुर की तीनों नगरियों को ध्वस्त कर दिया गया था। इस धनुष का नाम पिनाक था।
देवी और देवताओं के काल की समाप्ति के बाद इस धनुष को देवराज इन्द्र को सौंप दिया गया था।
देवताओं ने राजा जनक के पूर्वज देवराज को दे दिया। राजा जनक
Dec 11, 2022 • 4 tweets • 2 min read
*क्रिश्चियन* लड़की ने कहा कि.. यीशु हमारे लिए सूली पर लटके और मर गए।
मैंने कहा, पगली भगवान शिव ने हमारे लिए जहर पिया और जिंदा है।
(स्वयं पढ़ें और बच्चों को भी अनिवार्यतः पढ़ाएं*_.. 🙏
एक ओर जहां *ईसामसीह* को सिर्फ चार कीलें ठोकी गई थीं, वहीं *भीष्म पितामह* को धनुर्धर
अर्जुन ने सैकड़ों बाणों से छलनी कर दिया था।
तीसरे दिन कीलें निकाले जाने पर ईसा होश में आ गए थे, वहीं पितामह भीष्म ५८ दिनों तक लगातार बाणों की शैय्या पर पूरे होश में रहे और जीवन, अध्यात्म के अमूल्य प्रवचन, ज्ञान भी दिया तथा अपनी इच्छा से अपने शरीर का त्याग किया था।
🔘 पूर्व जन्मों के कर्मों से ही हमें इस जन्म में माता-पिता, भाई-बहन, पति-पत्नि, प्रेमी-प्रेमिका, मित्र-शत्रु, सगे-सम्बन्धी इत्यादि संसार के जितने भी रिश्ते नाते हैं, सब मिलते हैं । क्योंकि इन सबको हमें या तो कुछ देना होता है #Thread @IndiaTales7
या इनसे कुछ लेना होता है ।
🔘 वेसे ही सन्तान के रुप में हमारा कोई पूर्वजन्म का 'सम्बन्धी' ही आकर जन्म लेता है । जिसे शास्त्रों में चार प्रकार से बताया गया है --
🔘 #ऋणानुबन्ध : पूर्व जन्म का कोई ऐसा जीव जिससे आपने ऋण लिया हो या उसका किसी
Dec 9, 2022 • 7 tweets • 3 min read
#ये_बिहारी_लेडिज नाक से लेकर पूरे ऊपर मांग तक orange #सिंदूर (भखरा सिंदूर) भर लेती हैं....
ये कहकर मज़ाक बनाने वालों के लिए ये पोस्ट है,,
शादी में दुल्हन को सिंदूर सुबह के समय में लगाया जाता है। नारंगी सिंदूर की तुलना सुबह होने के समय सूर्य की लालिमा से की जाती है, जिसका रंग
नांरगी होता है। माना जाता है कि बिहार और झारखंड में नारंगी सिंदूर लगाने की पीछे मान्यता है कि जिस तरह सूरज लोगों की जिंदगी में नया सवेरा , खुशहाली और उमंग लाता है, उसी तरह माना जाता है कि नारंगी सिंदूर भी दुल्हन की जिंदगी में खुशहाली लाता है। यही कारण है कि सात फेरे और सिंदूर
Dec 8, 2022 • 9 tweets • 3 min read
दुनिया में भारत एक आस्था का केंद्र है। यहां पर कई चमत्कारिक और रहस्यमयी मंदिर हैं।
इनमें कई ऐसे मंदिर हैं जिनके रहस्यों को आज तक वैज्ञानिक भी नहीं सुलझा पाए हैं।
ऐसा ही एक भगवान श्रीकृष्ण का मंदिर है जो दक्षिण भारतीय राज्य केरल के थिरुवरप्पु में स्थित है। #Thread#श्रीकृष्ण_मंदिर_तिरुवरप्पु। यह दुनिया का सबसे असामान्य मंदिर है।
यह मंदिर २३.५८x७ खुला रहता है। यहाँ भगवान कृष्ण हमेशा ही विराजमान रहते हैं।डेढ़ हजार वर्ष पुराना यह मंदिर केरल के कोट्टायम जिले में तिरुवरप्पु में स्थित है। मान्यता है कि यंहा भगवान श्रीकृष्ण के प्रतिष्ठित
Dec 7, 2022 • 4 tweets • 1 min read
ऊपर श्रीमती विशाखा हरी और उनके बेटे राजगोपाला हरी की तस्वीर है।
श्रीमती विशाखा हरी सीए में स्वर्ण पदक विजेता हैं और हमारे प्राचीन सनातन धर्म, पुराण, इतिहास, वेद और शास्त्रों के बारे में व्यापक ज्ञान रखती हैं।
वह किसी MNC में शामिल हो सकती थी/विदेश जाकर करोड़ों रुपए कमा सकती थी।
लेकिन उसने हमारे पुराणों, इतिहासों, वेदों और शास्त्रों का प्रचार करने के लिए एक कर्नाटक गायक और हरिकथा के निर्माता बनने का फैसला किया।
उनके अधिकांश हरि कथा तमिल भाषा में हैं।
श्रीमती विशाखा हरि के परिवार द्वारा अपने एकमात्र पुत्र को विशाखा हरि के पदचिन्हों पर चलने और हरि कथाओं
मैं वह भारत हूँ जिसने पिछले पाँच हजार वर्ष में कभी अपने किसी बेटे का नाम #दुशासन नहीं रखा, क्योंकि उसने एक #स्त्री का अपमान किया था।
मैं वह भारत हूँ जो कभी अपने बच्चों को रावण या कंश नाम नहीं देता, क्योंकि इन्होंने अपने जीवन में स्त्रियों के साथ
दुर्व्यवहार किया था।
मैं वह भारत हूँ जहाँ कोई गांधारी अपने सौ पुत्रों की मृत्यु के बाद भी द्रौपदी पर क्रोध नहीं करती, बल्कि अपने बेटों की असभ्यता के लिए क्षमा मांगती है।
मैं वह भारत हूँ जहाँ निन्यानवे प्रतिशत बलात्कारियों को अपना गाँव छोड़ देना पड़ता है, और उसे धक्का कोई और
Dec 2, 2022 • 10 tweets • 3 min read
#गौ_सेवा_का_फल:-
आज से लगभग ८ हजार वर्ष पूर्व त्रेता युग में अयोध्या के चक्रवर्ती सम्राट महाराज दिलीप के कोई संतान नहीं थी।
एक बार वे अपनी पत्नी के साथ गुरु वसिष्ठ के आश्रम गए। गुरु वसिष्ठ ने उनके अचानक आने का प्रयोजन पूछा। तब राजा दिलीप ने उन्हें अपने पुत्र पाने
की इच्छा व्यक्त की और पुत्र पाने के लिए महर्षि से प्रार्थना की।
महर्षि ने ध्यान करके राजा के निःसंतान होने का कारण जान लिया।
उन्होंने राजा दिलीप से कहा, “राजन! आप देवराज इन्द्र से मिलकर जब स्वर्ग से पृथ्वी पर आ रहे थे l
तो आपने रास्ते में खड़ी कामधेनु को प्रणाम