तमाम रियासतों के एकीकरण का श्रेय सरदार पटेल को और काश्मीर और 370 का दोष पंडित नेहरु को, ये है भाजपा से जुड़े लोगो की सोच, आज इसी पर सत्य की चर्चा करते है #NehruFacts 1/n
सबसे पहली बात, जब संविधान सभा में आर्टिकल 370 पर चर्चा हुई थी, तब पंडित नेहरु देश के बाहर थे और देश के कार्यकारी प्रधानमंत्री सरदार पटेल थे. #NehruFacts 2/n aajtak.in/india/story/sa…
इतना ही नहीं, कांग्रेस ने आर्टिकल 370 का पुरजोर विरोध किया मगर सरदार पटेल ने इसे संविधान सभा से पास कराया #NehruFacts 3/n
जूनागढ़ रियासात को हिंदुस्तान और काश्मीर रियासात को पाकिस्तान को देने पर पटेल ने अपनी सहमती तक जता दी थी, पंडित नेहरु कश्मीर को पाकिस्तान को देने को तैयार नहीं थे, कश्मीर की भोगौलिक स्थिति भारत के लिए अतिमहत्वपूर्ण थी. Source Patel's biography by Rajmohan Gandhi #NehruFacts 4/n
जब जूनागढ़ में पाकिस्तान ने अपनी कुटिल चाले चली तब ही सरदार पटेल कश्मीर को भारत में मिलाने पर राजी हुए. #NehruFacts 5/n
इसमें कोई दूसरी राय नहीं की काश्मीर भारत का हिस्सा है तो वो पंडित नेहरु की वजह से. #NehruFacts 6/n
भाजपा की गन्दी चाल है नेहरु और पटेल को अलग का, जो भी गलतियाँ हुई उसका दोष नेहरु पर और जो अच्छा हुआ तो पटेल पर डालने की, जबकि सत्य ये है की देश के निर्माण में नेहरु और पटेल साइकिल के दो पहियों की तरह थे. #NehruFacts 7/n
सरदार पटेल के प्रति नेहरु के सम्मान को इसी से आंका जा सकता है की पटेल से मिलने नेहरु उनके घर जाते थे, ना की पटेल नेहरु के घर. महात्मा गाँधी के बाद, उनकी विरासत को सँभालने वाले ये दोनों ही थे. #NehruFacts 8/n
और ये जो आज पटेल को अपनाने और नेहरु को ठुकराने का दावा करते है ये बताना भूल जाते है की इनकी ही विचारधारा ने विश्व के सबसे बड़े नेताओं में शुमार महात्मा गाँधी की ह्त्या की और पटेल ने इनपर प्रतिबन्ध लगाया #NehruFacts 9/n
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नेहरु और काश्मीर का सच पार्ट 1
हमारी TL और सर्वत्र मोदीभक्त नेहरु को नीचा दिखाने के लिए पटेल को नेहरु से अलग कर दिखाने का प्रयत्न करते रहते है. आज उनके एक बड़े झूठ की बात करते है, और वो झूठ है काश्मीर:
शुरुआत करते है काश्मीर और श्यामा प्रसाद मुखर्जी से #NehruAndKashmir 1/n
१. आर्टिकल 370 को श्यामाप्रसाद मुखर्जी ने पूर्ण समर्थन दिया था.
२. मुखर्जी ने नेहरू को अनुच्छेद 370 पर एक समयबद्ध शर्त लगाने का सुझाव दिया था।
Reference: A Constitutional History J&K, published by Oxford University Press in 2011 By Historian A G Noorani #NehruAndKashmir 2/n
"हम शेख अब्दुल्ला के साथ घाटी में किसी विशेष तरीके से व्यवहार करने के लिए तत्परता से सहमत है, लेकिन जम्मू लद्दाख को पूरी तरह से भारत के साथ एकीकृत हो।" मुखर्जी का पत्र नेहरु को जनवरी 9, 1953
हमेशा की तरह एक बार फिर आरएसएस से जुड़े अंध मोदीभक्त नयी कहानी ले कर आये है. AIIMS की स्थापना में पंडित नेहरु नहीं बल्कि तत्कालीन स्वास्थमंत्री राजकुमारी अमृत कौर का योगदान था. अर्धसत्य..... भ्रमित करने के लिए यही हथियार ये हमेशा इस्तमाल करते है.
एम्स की स्थापना THE ALL INDIA INSTITUTE OF MEDICAL SCIENCES ACT, 1956 के माध्यम से हुई थी, जिसे संसद ने पास किया था, और स्वास्थ मंत्री की हैसियत से अमृत कौर ने इसे संसद के पटल पर रखा था,
संघी झूठ: नेहरु एम्स के खिलाफ थे इसलिए कौर ने अपनी सम्पत्ति बेच कर एम्स का निर्माण कराया
सच: नेहरु सरकार में स्वास्थ मंत्री अमृत कौर ने एम्स की स्थापना के लिए न्यूजीलैंड, ऑस्ट्रेलिया, वेस्ट जर्मनी, डच सरकारों के साथ साथ Rockefeller और फोर्ड फाउंडेशन से अनुदान प्राप्त किया था
बीजेपी नेहरू जी को बदनाम करने में क्यों जुटी रहती है हर समय केवल झूठ, फोटोशोप, इत्यादि का सहारा ले कर भारत के प्रथम प्रधानमंत्री और प्रख्यात स्वतंत्रता संग्राम सेनानी का अपमान करती है..क्योंकि_ #NehruFacts 1/n
●नेहरू का बसाया_
देश का पहला वेलप्लांड शहर चंडीगढ़ का श्रेय तो लेना है..
पर..नेहरू..? #NehruFacts 2/n
●नेहरू का बनवाया गया_
देश का नम्बर वन चिकित्सा संस्थान एम्स का लाभ, श्रेय तो लेना है..
पर..नेहरू..? #NehruFacts 3/n
जब सेंसर बोर्ड के पास ये फिल्म गयी तो उन्होंने कहा अगर रक्षा मंत्रालय को कोई आपत्ति ना हो तो ही ये फिल्म पास हो सकती है.
फिल्ममेकर ओमप्रकाश मेहरा रक्षा मंत्रालय गये, जहाँ उनसे प्राइवेट स्क्रीनिंग करने को कहा गया, जिसकी उन्होंने तत्काल व्यवस्था की 2/n
तत्कालीन रक्षा मंत्री प्रणव मुखर्जी, तीनो सेना प्रमुख और कुछ अन्य अधिकारीयों को ये फिल्म दिखाई गयी, फिल्म देखने के बाद रक्षा मंत्रालय के कुछ अधिकारीयों को रक्षा मंत्री एवं रक्षा मंत्रालय को भ्रष्ट दिखाने पर आपत्ति थी, और वो फिल्म के कुछ दृश्यों में बदलाव चाहते थे,3/4
"The question that my friend had asked me still remained unanswered: did I feel proud of this hero worship of crowd? I disliked it and wanted to run away from it, and yet I had got used to it, and when it was wholly absent, 1/5
I rather missed it. Neither way brought satisfaction, but of the whole, the crowd has filled some inner need of mine. The notion that I could influence them and move them to action gave me a sense of authority over their minds and hearts; 2/5
and this satisfied to some extent, my will to power. In their past, they exercised a subtle tyranny over me, for their confidence and affection moved inner depths within me and evoked emotional responses. 3/5