काँग्रेस (सेकुलर-सवर्ण)-अशरफ की प्रेम कहानी का एक और प्रमाण बेंगलुरु से। यह हमेशा याद रखें कि यह कोई नयी चीज नही है जो हाल के वर्षों में हुई है। इस प्रेम-कहानी की शुरुआत महात्मा गाँधी द्वारा १९२१ में हुई थी।
1/
जबतक आप इस बात पर विचार नही करेंगे कि भारत पर इस्लामिक शासन के दौरान अस्तित्व में आया आक्रमणकारी विदेशी मुसलमानों (अशरफ वर्ग जो भारतीय मुसलमानों को बहुत ही हेय दृष्टि से देखता था और उनसे बिल्कुल अलग-थलग रहता था) का वर्ग और इन अशरफों की(और बाद में अंगरेज की) स्वामिभक्ति करने1+
2/
वाला हिंदूओं का रायबहादुरी वर्ग २०वीं सदी की शुरुआत में एकाएक कहाँ गायब हो गया, तबतक आप १९२० से २०१४ तक की भारत की राजनीति को आप समझ नही पायेंगे।
3/
गाँधीजी द्वारा मुस्लिमलीग से लखनऊ समझौता और फिर उनके द्वारा १९२१ का असहयोग आंदोलन करने के साथ ही उपर्युक्त वर्णित दोनो ही वर्ग रातोंरात भारत के स्वतंत्रता संग्राम के विधाता बन गये और उनकी गाजी और जयचंदी वास्तविकता लोगों से छिप गयी।
4/
यही लोग आगे जाकर १९४७ में अंग्रेज के संरक्षण में पाकिस्तान और सेकुलर इंडिया के निर्माता बने।
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15 Oct
Today I read a very interesting thing about Arundhati, the wife of Sage Vashishtha and its symbolism as a star of Saptarshi Mandal. I didn't know this symbolism of Arundhati to such a detail.
1/
" The image of Arundhati is of iconic proportions such that her name is found invoked across the country irrespective of the languages spoken and the background of the people. Not many know that the true persona of Arundhati can be known from old Tamil texts!
2/
Arundhati is held as an epitome of pativratatva — a virtue that has no equivalent word in English, except the term ‘chastity’. Interestingly this virtue has a word in Tamil as “karpu” with two ancient Tamil texts giving elaborate description of what this virtue stands for.
3/
Read 23 tweets
14 Oct
I was reading a book critiquing Nilesh Oak's work on the dating of MBH. I guess this criticism is true about his work.
1/
"Analogies as astronomy positions

The Voyager- Simulation Nyaya is capable of proving even analogous statements.
A verse in Mahabharata compares seven Kaurava brothers attacking Bhima with seven planets attacking the Moon.

An enthusiastic Oak armed with this Nyaya runs the simulator and finds seven planets –
2/
that include Uranus, Neptune and Pluto – lined up in the sky from east to west in his Mahabharata date, corroborating this analogy![34]
Analogies have a special place in Nilesh Nilkanth Oak’s claims on ‘logical reasoning’.
3/
Read 17 tweets
14 Oct
"अब वर्णाश्रम-शृङ्खलाकी भित्ति कह रहे हैं---

सतीत्वमूलं तत् ॥ ४४ ॥
सतीत्व उसका मूल है ॥ ४४ ॥
वर्णाश्रम-शृङ्खलाकी भित्ति और उसका विज्ञान हृदयङ्गम करानेके अभिप्रायसे सबसे प्रथम पूज्यपाद महर्षि सूत्रकार कह रहे हैं कि, यदि विचारके देखा जाय, तो यही सिद्ध होगा कि,
1/
वर्णाश्रम शृङ्खलाका मूल नारीजातिका सतीत्व है। आश्रमधर्मका मूल वर्णधर्म है और वर्णधर्मका मूल रजोवीर्यकी शुद्धि है, रजोवीर्य शुद्धिका मूल नारीजातिमें त्रिलोकपवित्रकारी सतीत्वधर्म है। गृहस्थगण चाहे कितना ही सदाचारसे रहें, पुरुषगण चाहे कितने ही संयमी हों,
2/
यदि नारीजाति अपने तपोधर्मकी रक्षा न करे तो वर्णकी शुद्धि और आश्रमकी शुद्धि दोनों नष्ट हो जायगी और दोनोंकी शृङ्खला बिगड़ जायगी। दूसरी ओर विचारनेयोग्य विषय यह है कि, पुरुषका कदाचार उसके व्यक्तित्व तक ही पहुँचता है और स्त्रीका कदाचार उसके व्यक्तित्व, उसकी सन्तति, उसका कुल,
3/
Read 51 tweets
13 Oct
As a Hindu what do you make of a description this in your Scriptures?

उभय बीच श्री सोहइ कैसी। ब्रह्म जीव बिच माया जैसी॥
सरिता बन गिरि अवघट घाटा। पति पहिचानि देहिं बर बाटा॥2॥
1/
भावार्थ : दोनों के बीच में श्री जानकीजी कैसी सुशोभित हैं, जैसे ब्रह्म और जीव के बीच माया हो। नदी, वन, पर्वत और दुर्गम घाटियाँ, सभी अपने स्वामी को पहचानकर सुंदर रास्ता दे देते हैं॥

2/
जहँ जहँ जाहिं देव रघुराया। करहिं मेघ तहँ तहँ नभ छाया॥

भावार्थ : जहाँ-जहाँ देव श्री रघुनाथजी जाते हैं, वहाँ-वहाँ बादल आकाश में छाया करते जाते हैं।

3/
Read 7 tweets
12 Oct
"यद्यपि पूज्यपाद भगवान्महषि जैमिनिकृत एक कर्ममीमांसादर्शन उपलब्ध होता है, परन्तु वह उत्तरार्द्ध है, सम्पूर्ण नहीं है ; क्योंकि उसमें केवल वैदिक यज्ञोंकी मीमांसा है, जिसकी इस समय समयकी प्रतिकूलता और साधन-सामग्रीके अभावसे विशेष उपयोगिता नहीं रही है।
1/2
इस समय कर्मके गम्भीर रहस्योंका उद्घाटन करनेवाला कर्ममीमांसाके इस पूर्वाद्ध दर्शनकी, जिसके प्रणेता भगवान् महर्षि भरद्वाज हैं, जो दर्शनसिद्धान्त बहुकाल से लुप्त था, बड़ी आवश्यक्ता और उपयोगिता है ।"
2/2
"भगवत् पूज्यपाद गुरुदेवप्रभुका अनुभव था कि, मन्त्रशक्ति, तपःशक्ति, और योगशक्ति, जिनका वर्णन शास्त्रों में आया है, सब सत्य हैं। अब भी मनुष्य सदाचार और उपासनाद्वारा नित्यपितरोंकी कृपा सुगमतासे प्राप्त कर सकता है।
1/
Read 6 tweets
11 Oct
All and any kind of animal sacrifice is banned in Kaliyuga.
As per Karmakanda of Vedas there are certain Yagnas and rituals where sacrifice of an animals is prescribed. But all such rituals are banned in Kaliyuga.

Smriti texts say:

अक्षता गोपशुश्चैव श्राद्धे मांसं तथा मधु ।
देवराच्च सुतोत्पत्तिः कलौ पञ्च विवर्जयेत् ।

ie In Kaliyuga use of meat and wine in Shraad, Pashubali, Niyoga etc are banned.

Read 24 tweets

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